आइये विस्तार से जानते है इस स्थान के बारे में: जब भी कभी आप सरमेरा बिहटा मार्ग SH-78 से गुजर रहे हैं तो सोनसा गांव के पास स्थित ब्रह्म बाबा स्थान के पास अपनी गाड़ी में ब्रेक जरूर लगाएं। यही है वो ब्रह्म बाबा जिनके बारे में इस आर्टिकल में बताया गया है। अगर आप पटना से सरमेरा की ओर जा रहे हैं तो ब्रह्म बाबा आपके बाएँ तरफ स्थित नजर आएंगे। यदि आप सरमेरा से पटना की ओर जा रहे हैं तो ब्रह्म बाबा आपके दाहिने तरफ स्थित नजर आएंगे। आपसे आग्रह है की यहाँ पर अपनी गाड़ी की रफ्तार धीमी अवश्य करें। यहाँ पर आपको एक पुराना पीपल का वृक्ष नजर नजर आएगा, उस पीपल के जड़ के पास ही ब्रह्म बाबा का स्थान बना हुआ है।
क्या इतिहास रहा है इस स्थान का?
यह स्थान बहुत ही पवित्र है। जब यह स्टेट हाइवे का निर्माण नही हुआ था तब की बात आपको बता रहा हूं, यहाँ पर जो पीपल का वृक्ष है, लोग बताते है की यह लगभग 200-250 साल पुराना है। यहाँ पहले कुस्ती का मैदान था, आस पास के लोग यहाँ कुस्ती सीखते और सिखाते थे। और ब्रह्म बाबा के इस स्थान पर पूजा होती थी। यहाँ पर कुस्ती सिखकर एक से एक कुस्ती में खलीफा बनें, सबसे विख्यात सोनसा गांव के पुराने जमाने में गोविंद खलीफा इसी स्थान से सिखकर खलीफा बनें थे।
यहाँ पर महिलाएं भी पूजा पाठ करती थी, और आज भी करती हैं। इसके अलावा पिछले कई वर्षों से वहां पर आसाढ़ महीनें की अंतिम मंगलवार को सभी ग्राम वाले मिलकर खीर का प्रसाद बनाकर ब्रह्म बाबा पर चढ़ाते हैं और फिर सभी प्रसाद वितरण करते हैं। लोग बताते है, हमलोगों ने भी देखा है की यहाँ का जो प्रसाद के रूप में खीर बनता है वह बेहद ही स्वादिष्ट रहता है, जिसे थोड़ा सा खाकर ही मन तृप्त हो जाता है।
स्टेट हाइवे 78 बनने के से ब्रह्म बाबा को हुआ बहुत तकलीफ: जब यह हाइवे का निर्माण हुआ तब यह स्थान सड़क के मार्ग के बीच में पड़ गया, उसी कारण इस पीपल वृक्ष को तहस- नहस कर दिया गया, उसके बाद से इस स्थान पर कई कई तरह की घटनाएं घटने लगी। सड़क बनने के दरमियान कई मशीने यहाँ पर खराब हो जाती थी, नई नई मशीनों का यहां हालात खराब हो गया था। फिर गांव वालों ने बताया की ब्रह्म बाबा के स्थान को नष्ट किया गया है जिसके वजह से यहाँ पर इस तरह की घटनाएं हो रही है, अगर इनका स्थान दिया जाय तो सब ठीक हो जायेगा। जिसके बाद हाइवे में काम करने वाले कर्मचारियों ने बाबा का स्थान सड़क के किनारे उनका अस्थाई पिंडी बना कर दिया (जो आज भी उसी स्थिति में है) और भगवान को प्रसाद चढ़ाया उसके बाद सड़क निर्माण का कार्य शुरु हुआ।
एक अन्य चमत्कार जो हाल ही में घटित हुआ :- जैसा की आप सभी जानते है की इसी मार्ग से होते हुये गंगा जल को राजगीर की जा पाइप लाइन के माध्यम से ले जाया गया। जब पाइप लाइन बिछाने का काम चल रहा था तभी जब इस स्थान के समीप पहुंच तभी सारी मशीने अपने आप खराब हो गयी। एक एक कर कई मशीनें लायी गयी परन्तु नतीजा कुछ नही निकला सब मशीने यहाँ आ कर खराब हो जा रही थी, जिसके वजह से काम करने वाले मजदूर काफी परेशान हो गये थे। फिर गांव वालों के द्वारा पता चला की इस स्थान पर पीपल वृक्ष के बगल में ब्रह्म बाबा का निवास स्थान है, जब तक आप इनसे आज्ञा नही ले लेते, उनकी पूजा नही करते, प्रसाद नही चढ़ाएंगे आपका काम आगे नही बढ़ेगा। पहले तो काम करने वालों को थोड़ा अजीब लगा, फिर उसके पास कोई उपाय नही सूझ रहा था, अंत में काम करने वालों ने गांव वाले की बात मानकर बगल के बाज़ार रहुई से मिठाई लाकर भगवान का धुप दिखाये और प्रसाद चढ़ाये उसके बाद सारी मशीनें अपने आप काम करने लगी। जिसे देखकर सभी आश्चर्यचकित रह गये। और ब्रह्म बाबा की महिमा पर विश्वास हो गया।
इसलिए आप जब भी ओस रास्ते से गुजर रहे हैं तो अपनी गाड़ी में ब्रेक अवश्य लगा कर दो मिनट रुक कर ब्रह्म बाबा को नमस्कार कर आशीर्वाद लेकर ही आगे बढ़ें। आपका आपकी भी यात्रा मंगलमय हो।
अभी यह स्थान जीर्ण शीर्ण है पर बहुत जल्द यहाँ पर लोगों की सहायता से मंदिर निर्माण कार्य शुरु होने वाला है। अतः आपलोग भी इस स्थान पर अवश्य पधारें और इनला दर्शन करें।
जय ब्रह्म बाबा! अपनी कृपा बनाये रखियेगा।